एयर शो में अमेरिका के प्लेन जलवा दिखा रहे हैं! भारत की टेक सिटी बेंगलुरू में इस समय एशिया का सबसे बड़ा एयर शो एयरो इंडिया 2023 चल रहा है। सोमवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसका उद्घाटन किया था। इस एयर शो में दुनिया भर की तमाम कंपनियों ने हिस्सा ले रही हैं। इन सबके बीच, अमेरिका भी चर्चा में आ गया है। दरअसल, भारत में हो रहे एयरो इंडिया 2023 के पहले दिन अमेरिका की वायुसेना के पांचवीं पीढ़ी के दो सुपरसोनिक बहुउद्देश्यीय एफ-35ए विमान पहली बार नजर आए थे। वहीं आज यानी मंगलवार को अमेरिका ने एयरो इंडिया में अपने महाविनाशक B-1B लांसर बॉम्बर विमानों को पेश किया। बता दें कि B-1B लांसर ‘द बोन’ नाम से भी जाना जाता है। ये अमेरिका स्थित अपने अड्डों और अग्रिम मोर्चों से विश्वभर में अभियान को अंजाम देने में सक्षम है। इतना ही नहीं यह निर्देशित और गैर-निर्देशित दोनों तरह के सबसे बड़े पारंपरिक आयुध ले जाने में सक्षम है। साथ ही इसे अमेरिका की लंबी दूरी के हमलावर बल (वायुसेना) की रीढ़ माना जाता है।
यूक्रेन में रूस के हमले को देखते हुए भारत और अमेरिका के बीच अपनी रक्षा एवं सुरक्षा साझेदारी प्रगाढ़ करने के नये संकल्प के क्रम में विश्व में सर्वाधिक घातक माने जाने वाले ये लड़ाकू विमान भारत में आये हैं। अमेरिकी वायुसेना के सहायक उप अवर सचिव मेजर जनरल जूलियन सी चीटर ने इसके बारे में बताया कि ‘बी-1 लड़ाकू कमांडरों को अनुकूलन वाले विकल्प उपलब्ध कराता है। क्षेत्र में हमारे साझेदारों के साथ व्यापक समन्वय व्यापक अंतरनिर्भरता की दिशा में एक सकारात्मक कदम है।
वहीं, अधिकारियों ने बताया कि कई अमेरिकी लड़ाकू विमान पहले से एयरो इंडिया शो में भाग ले रहे हैं। अमेरिकी लड़ाकू विमान पहले से एयरो इंडिया शो में भाग ले रहे हैं। ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था।अमेरिकी लड़ाकू विमान पहले से एयरो इंडिया शो में भाग ले रहे हैं। ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।
इस मौके पर नयी दिल्ली में अमेरिकी दूतावास के रक्षा ‘अताशे’ रियर एडमिरल एम.बेकर ने कहा कि भारत में दूसरी बार बी1 बी को उतार कर हम खुश हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था।अमेरिकी लड़ाकू विमान पहले से एयरो इंडिया शो में भाग ले रहे हैं। ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।उन्होंने बताया कि ये बमवर्षक विमान दक्षिण डकोटा से गुआम तक और फिर भारत पहुंचे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका और भारत रक्षा सहयोग प्रगाढ़ करना जारी रखेंगे। हम दोनों के पास दो बड़ी सेनाएं हैं जो साथ में काम करने पर और बेहतर हो जाती हैं।
बी-1 के अलावा एयरो इंडिया में भाग ले रहे अमेरिकी वायुसेना के विमानों में पांचवीं पीढ़ी के नये लड़ाकू विमान–सुपरसोनिक, मल्टीरोल एफ-35ए लाइटनिंग2 और एफ-35ए ज्वाइंट स्ट्राइक फाइटर भी शामिल हैं।इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था।अमेरिकी लड़ाकू विमान पहले से एयरो इंडिया शो में भाग ले रहे हैं। ये दिखाता है कि दोनों देशों के बीच संबंध कितने ज्यादा मजबूत हैं। इससे पहले फरवरी 2021 में बी-1बी पहली बार भारत में उतरा था। ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था।ये लासंर बॉम्बर येलेहंका एयरबेस के ऊपर से उड़ा था। इसके अलावा एयरो इंडिया में भाग लेने वाली अमेरिकी कंपनियों में बोइंग, जीई एयरोस्पेस, जनरल एटॉमिक्स एयरोनॉटिकल सिस्टम्स इंक, लॉकहीड मार्टिन, प्राट एंड व्हिटनी, टी डब्ल्यू मेटल्स, एलएलसी और यूनाइटेड परफार्मेंस मेटल्स शामिल हैं।