आज हम आपको बतायेंगे कि आखिर देवरिया का फतेहपुर गांव छावनी कैसे बना! यूपी में देवरिया जिले के रुद्रपुर थाना क्षेत्र के फतेहपुर गांव में जमीनी विवाद को लेकर हुए नरसंहार के बाद गांव पुलिस छावनी में तब्दील हो गया है। घटना के बाद से ही पुलिस और प्रशासनिक अफसर गांव में कैंप किए हैं। गांव में शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए भारी मात्रा में पीएसी व पुलिस तैनात कर दी गई है। प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद,एडीजी ला एंड आर्डर प्रशांत कुमार, गोरखपुर जोन के एडीजी अखिल कुमार गांव में पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए चार टीम में गठित की गई हैं और एक दर्जन लोगों को हिरासत में लिया गया है। जिलाधिकारी अखंड प्रताप सिंह, पुलिस अधीक्षक संकल्प शर्मा सुबह से ही गांव में कैंप किए हैं।
जमीन के विवाद में एक के बदले हुई पांच हत्याओं में सत्य प्रकाश दुबे का पूरा परिवार ही खत्म हो गया। यह संयोग ही था कि सत्य प्रकाश दुबे का बड़ा बेटा शेरा सुबह ही घर से देवरिया चला गया था। जिसकी वजह से उसकी जान बच गई। यादव बाहुल्य इस गांव में हमलावरों ने लगभग आधे घंटे तक तांडव मचाया हत्यायें की मगर न तो गांव का कोई भी व्यक्ति बीच बचाव आया और न ही पुलिस समय से पहुंची। बताया जाता है कि गांव में मात्र इकलौता घर सत्य प्रकाश दुबे का था।सलोनी, नंदनी व बेटा गांधी हाथ जोड़कर जान की भीख मांगने लगे। हम लोगों को इन मासूमों पर दया नहीं आई और उन लोगों ने सभी को मौत के घाट उतार दिया। इसके बाद हमलावर दुबे के घर में घुसे और अनमोल को भी गंभीर रूप से घायल कर दिया। जिसका मेडिकल कॉलेज में इलाज चल रहा है। इसके अलावा एक परिवार श्रीवास्तव का है कुछ केवट जाति के लोग हैं। और बाकी पूरी बस्ती यादव बिरादरी की है।
सत्य प्रकाश दुबे के तीन बेटे और तीन बेटियां थी। घर की आर्थिक स्थिति काफी कमजोर है। बड़ी बेटी निशा की उन्होंने शादी कर दी है। मछली बेटी सलोनी एक निजी विद्यालय में पढ़ती थी। जबकि छोटी बेटी नंदिनी और बेटा गांधी पढ़ाई करते थे। एक बेटा देवेश उर्फ शेरा पूजा पाठ करने का काम करता है। सबसे छोटा बेटा अनमोल अभी मात्र 8 वर्ष का है। पूरा परिवार तीन सेट के एक घर में रहता है जिसमें कोई दरवाजा भी नहीं है।
लोगों की माने तो हमलावरों की भीड़ जब उनके दरवाजे पर पहुची तो सत्यप्रकाश दुबे की पत्नी हाथ जोड़ कर आगे खड़ी हो गईं। मगर हमलावरों ने सत्य प्रकाश से उनकी पत्नी की लाठी और गोली मारकर हत्या कर दी। माता-पिता की हत्या के बाद सबसे छोटा अनमोल घर में जाकर कोने में छिप गया और बेटी सलोनी, नंदनी व बेटा गांधी हाथ जोड़कर जान की भीख मांगने लगे। हम लोगों को इन मासूमों पर दया नहीं आई और उन लोगों ने सभी को मौत के घाट उतार दिया। इसके बाद हमलावर दुबे के घर में घुसे और अनमोल को भी गंभीर रूप से घायल कर दिया। जिसका मेडिकल कॉलेज में इलाज चल रहा है। बता दें कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस घटना पर दुख जताया है और पीड़ित परिवार के लिए संवेदना व्यक्त की. सीएम ने पुलिस अधिकारियों को इस मामले में सख्त कार्रवाई के निर्देश देते हुए, पीड़ित परिवार को हर संभव सहायता देने की भी बात कही है. मुख्यमंत्री खुद इस घटना की मॉनिटरिंग कर रहे हैं और प्रमुख सचिव गृह संजय प्रसाद से पल पल की जानकारी ले रहे हैं!
दरअसल, फतेहपुर गांव के लेड़हां टोले के सत्य प्रकाश दुबे के परिवार का गांव के ही अभयपुरा टोले के रहने वाले पूर्व जिला पंचायत सदस्य प्रेमचंद यादव के परिवार से जमीन को लेकर काफी लंबे समय से विवाद चल रहा था. इसी को लेकर सोमवार की सुबह दोनों पक्षों में फिर से झगड़ा शुरू हो गया. इस दौरान लाठी-डंडों, बंदूक और अन्य हथियारों से लैस लोगों ने सत्य प्रकाश के घर पर धावा बोल दिया. मृतकों में ज्यादातर सत्य प्रकाश के परिवार के ही सदस्य हैं. इस घटना में पूर्व जिला पंचायत सदस्य प्रेम चंद्र यादव की भी मौत हो गई है!
इसी बीच घटना की जानकारी मिलती ही पुलिस तुरंत घटनास्थल पर पहुंची और तनावपूर्ण स्थिति को देखते हुए इलाके में अर्धसैनिक बलों को तैनात किया गया. छह लोगों की मौत की खबर से पुलिस प्रशासन में भी हड़कंप मच गया है. घटना की फिलहाल जांच चल रही है. एक साथ छह लोगों की हत्याओं के बाद गांव में तनाव व्याप्त है. इस मामले को लेकर डीजीपी ने एसपी संकल्प शर्मा से रिपोर्ट मांगी है. बता दे कि प्रथम दृष्टया घटना आपसी रंजिश से संबंधित है. आज सुबह प्रेम यादव सत्य प्रकाश दुबे के घर पर आए थे, जिसमें कहासुनी हुई और सत्य प्रकाश दुबे और उनके परिजनों ने प्रेम यादव की धारदार हथियार से हत्या कर दी. कुछ देर बाद प्रेम यादव के लोगों ने सत्य प्रकाश दुबे के घर पर हमला कर घटना को अंजाम दिया. मामले में दो गिरफ्तारी हुई है. प्रकरण की जांच जारी है!