नई दिल्ली। उत्तर प्रदेश विधानसभा में बुधवार को समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव और बीजेपी नेता तथा डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य के बीच तीखी नोकझोंक देखने को मिली. सदन में डिप्टी सीएम केशव मौर्य के एक बयान पर अखिलेश यादव इतने नाराज़ हुए कि उन्होंने केशव मौर्य को ‘तुम’ कहकर संबोधित किया. इस दौरान सदन का माहौल इतना गरम हो गया कि सीएम योगी को खड़े होकर माहौल संभालना पड़ा. अखिलेश ने कहा कि यह पीडब्ल्यूडी मंत्री रहे हैं। ये भूल गए कि उनके जिला मुख्यालय की सड़क किसने बनाई? बताएं फोन लेन किसने बनाई। केशव ने जवाब दिया, ”अध्यक्ष जी कृप्या इन्हें बता दीजिए कि पांच साल सत्ता में नहीं रहे, फिर पांच साल के लिए फिर विदा हो गए हैं। 2027 में चुनाव आएगा फिर कमल खिलेगा। सड़क किसने बनाई है, एक्सप्रेस वे किसने बनाई है, मेट्रो किसने बनाई है, ऐसा लगता है कि आपने सैफई की जमीन बेचकर आपने यह सब बना दिया है। इतना सुनते ही अखिलेश यादव बिफर पड़े और कहा, ‘तुम पिता जी से पैसा लाते हो यह बनाने के लिए. राशन बांटा है तो क्या पिताजी से पैसा लाए हो.’ सपा प्रमुख के इतना कहते ही दोनों दलों के विधायक खड़े हो गए और हंगामा करने लगा. इस पर माहौल ख़राब होता देख सीएम योगी आदित्यनाथ ने सदन में खुद खड़े होकर माहौल संभाला
केशव प्रसाद मौर्य की बात सुनते ही अखिलेश यादव भड़क गए और खड़े होकर कहा कि तुम क्या अपने पिता जी के पास से पैसे लाते हो? तुमने राशन बांटा तो पिता जी के पैसे बांटा ? अखिलेश यादव के इतना कहते ही दोनों पार्टियों के विधायक खड़े हो गए और हंगामा करने लगा। इस दौरान सदन का माहौल इतना गरम हो गया कि सीएम योगी आदित्यनाथ को खुद खड़े होकर माहौल को संभालना पड़ा। सदन में बुधवार को राज्यपाल आनंदीबेन पटेल के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान अखिलेश यादव ने करीब एक घंटे से अधिक समय तक योगी सरकार पर ताबड़तोड़ हमले किए. इसके बाद राज्य सरकार की ओर से उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य जवाब देने के लिए खड़े हुए. इस दौरान अखिलेश बीच-बीच में उनको खूब टोकते रहे.
सीएम योगी आदित्यनाथ खड़े हुए। उन्होंने सबको मर्यादा में रहने की नसीहत देते हुए कहा कि सहमति-असहमति हो सकती है किसी बात पर। हम बाद में ठीक करवा सकते हैं। लेकिन तू-तू- मैं-मैं का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए। किसी असभ्य भाषा का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए। यह गलत परंपरा होगी और देश में गलत संदेश जाएगा। जब एक सदस्य खासकर उपमुख्यमंत्री बोल रहे हों तो बीच में रनिंग कमेंट्री करना ठीक नहीं होगा। सीएम योगी ने कहा कि सिर्फ सत्ता पक्ष से मर्यादा की अपेक्षा ना करें विपक्ष भी इसका पालन करे तो बेहतर होगा।