AIMIM के नेता और सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने एक बार फिर सीएम योगी पर निशाना साधते हुए तंज कसा. उन्होंने कहा कि बाबा मुख्यमंत्री से पूर्व मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं. यूपी में कुल 403 विधानसभा सीटों के लिए सात चरणों में मतदान होगा. इन चरणों के तहत 10 फरवरी, 14 फरवरी, 20 फरवरी, 23 फरवरी, 27 फरवरी, 3 मार्च और 7 मार्च को वोटिंग होगी. 10 मार्च को नतीजे आएंगे.
ओवैसी ( Asduddin Owaisi ) से पहले उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने गोरखपुर शहरी सीट से मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के चुनाव लड़ने पर चुटकी लेते हुए तंज कसा था कि उनकी पार्टी ने चुनाव नतीजों के ऐलान से पहले ही उन्हें गोरखपुर भेज दिया है। उन्होंने कहा कि अब योगी वहीं रहें, वहां से आने की जरूरत नहीं है। भाजपा वालों ने 10 मार्च से पहले ही उनकी विदाई कर दी है। उसके बाद ओवैसी का ये बयान सामने आया है।
AIMIM अध्यक्ष ने सोमवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान चुनावी रैलियों पर लगे प्रतिबंध पर कहा, “हम वर्चुअल रैली और सोशल मीडिया पर अपनी मौजूदगी को बढ़ा रहे हैं. सबको इस बात की तकलीफ है कि फिजिकल रैली नहीं हो रही है. मैंने पिछले 4-5 महीनों में करीब 60 सभाएं की हैं, उसका अच्छा असर पड़ेगा. मैं लखनऊ भी जाऊंगा और पश्चिमी यूपी में भी कैंपेन करूंगा. चुनाव आयोग के निर्देशों के तहत जो भी संभव होगा, वो करेंगे मालेगांव विस्फोट मामले पर ओवैसी ने कहा कि अब गेंद एनआईए के हाथ में है और पीड़ितों को न्याय मिलनी चाहिए. उन्होंने कहा, “आरोपियों को कोर्ट से सजा मिलने के बाद ही पीड़ितों को इंसाफ मिलेगा. अगर ऐसा नहीं हुआ तो मुझे डर है कि जो मक्का मस्जिद ब्लास्ट केस में हुआ, जो हाजा अजमेरी ब्लास्ट केस और समझौता एक्सप्रेस ब्लास्ट केस में हुआ, जिसमें न्याय नहीं किया गया. हम नहीं चाहते हैं कि इस मामले में भी ऐसा ही हो
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.ओवैसी ने सोमवार को अपने ट्वीट में लिखा, “बाबा में हमदर्दी होती तो वो उन लोगों से माफ़ी मांगते जो दूसरी लहर में ऑक्सीजन और बेड की कमी के कारण वफ़ात (मौत या मृत्यु) पा गए. बाबा ये तो बताओ कि नए अस्पताल कितने बनाए? कितने डॉक्टरों की भर्ती हुई? इंशा’अल्लाह बाबा मुख्यमंत्री से पूर्व मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं.ओवैसी ने किसी पार्टी के साथ गठबंधन को लेकर कहा कि अगर ऐसा कुछ होता है तो वे इसकी घोषणा करेंगे. भारतीय जनता पार्टी (BJP) को अप्रत्यक्ष रूप से जीतने में मदद के आरोपों को लेकर ओवैसी ने कहा कि उन्हें इन आरोपों की कोई फिक्र नहीं है. उन्होंने कहा, “सवाल यह है कि 2014, 2017 और 2019 में उत्तर प्रदेश में बीजेपी क्यों जीती? मेरे इस सवाल का जवाब कोई नहीं दे पा रहा है. सच्चाई यह है कि ये तमाम धर्मनिरपेक्ष पार्टियां बीजेपी को हराने में नाकाम रही है. अब हताश होकर हम पर आरोप लगे रहे हैं.