Friday, October 18, 2024
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क्या आपका भी पेट फूलता जा रहा है? तो अपनाएं ये उपाय!

अक्सर आपने देखा होगा कि लोगों के पेट फूलते चले जाते हैं और एक समय के बाद वह मोटे हो जाते हैं! आजकल के जीवनशैली में एसिडिटी, गैस होने की समस्या होना, पेट फूलना, अफारा जैसी समस्याएं बहुत ही आम बीमारी हो गई है। इसका एक ही मूल कारण है समय के अभाव के कारण लोग हद से ज्यादा अनियमित और असंतुलित जीवनशैली का निर्वाह करने लगे हैं जिसका सीधा असर पेट पर पड़ता है।पेट में अंदरूनी परत होती है, जिसे म्यूकोसा कहते हैं। इसी परत में कई छोटी-छोटी ग्रन्थियां होती हैं, जो भोजन को हजम करने के लिए स्टमक एसिड और पेप्सिन नामक एंजाइम का निर्माण करती हैं। जहां, स्टमक एसिड भोजन को पचाता है, वहीं पेप्सिन प्रोटीन को हजम करता है। जब इसी अंदरूनी परत में सूजन आ जाती है, तो पेट में गैस की समस्या होने लगती है। इस कारण स्टमक ऐसिड और पेप्सिन का उत्पादन कम होने लगता है और पेट खराब हो जाता है, पेट फूलना यानी ब्लोटिंग की समस्या होने लगती है।

आमतौर पर पेट फूलने का कारण पेट में बनने वाली गैस होती है। जिससे पेट का आकार बढ़ने लगता है। इसे पेट की सूजन भी कहते हैं। सामान्य तौर पर ऐसा खाना खाने के बाद महसूस होता है। यह समस्या तब आती है जब छोटी आंत के अन्दर गैस भर जाता है। इसका सीधा संकेत पाचन क्रिया में गड़बड़ी भी होती है। वैसे तो इसे आम समस्या समझा जाता है लेकिन नजर अंदाज करने पर यह बीमारी गंभीर भी बन सकती है।

ब्लोटिंग कई कारणों से हो सकते हैं जैसे, लाइफस्टाइल में गड़बड़ी, हार्मोनल असंतुलन, बासी भोजन का सेवन, पेट में पानी या फ्लूइड का भर जाना, कब्ज, ज्यादा देर तक भूखे या फिर कई घंटे एक ही जगह पर बैठे रहना, पीरीयड्स आने पर होने वाले शारीरिक बदलाव भी पेट के फूलने का कारण बनते हैं। इसके अलावा दवाइयों का अधिक सेवन या और भी बहुत से कारण हैं जो ब्लोटिंग की वजह हैं। इससे सेहत पर भी बहुत बुरा असर पड़ता है, इससे छुटकारा पाने के लिए सही लक्षणों को पहचानना बहुत जरूरी होता है।

पेट फूलने की समस्या ज्यादातर तला-भुना खाने और मसालेदार भोजन के सेवन से होता है। पेट फूलने की वजह से आपको रोजमर्रा के कामों में परेशानी होती है। पेट फूलने के कारण पेट भरा-भरा लगता है और भूख का पता नहीं चलता है और न ही आप ऐसे में भोजन का ठीक से आनंद ले पाते हैं। सर्दी में आमतौर पर पेट में गैस बनने, पेट के भारीपन और पेट फूलने की समस्या बढ़ जाती है। इसके कारण आपको दिन में आलस बहुत आता है और आप हर समय थका हुआ महसूस करते हैं। गैस ज्यादा बनने के कारण कई बार आपको शर्मिन्दा भी होना पड़ता है। सर्दी में ये समस्याएं इसलिए बढ़ जाती हैं क्योंकि आमतौर पर सर्दियों में हमारा मेटाबॉलिज्म और पाचन धीरे हो जाता है, जिसके कारण भारी आहार आसानी से पचता नहीं है।

पेट फूलने की बीमारी में सबसे आम लक्षण पेट का भरा महसूस होना और बेचैनी होती है, लेकिन इसके अलावा और भी लक्षण होते हैं जिसको बीमारी के सही पहचान के लिए समझना ज़रूरी होता है। पेट में हल्की जलन होने से लेकर तेज दर्द तक गैस के लक्षण हो सकते हैं। हालांकि, हल्की जलन को अनदेखा किया जा सकता है, लेकिन दर्द को बर्दाश्त करना मुश्किल हो जाता है।

आहार- अगर आपका पेट में गैस ज्यादा बनती है तया पेट फूलता है और भारीपन महसूस होता है तो इसका कारण आपका आहार हो सकता है। सर्दियों में लोग अक्सर पालक और पत्ता गोभा ज्यादा खाते हैं। ये दोनों सब्जियां स्वास्थ्य के लिए बहुत अच्छी होती हैं मगर इनका बहुत अधिक सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि ये पेट में गैस का कारण बन सकती हैं। इसके अलावा चना, चने की दाल, बीन्स, बेसन से बने फूड्स, मैदा, राजमा, छोले आदि के सेवन से भी पेट में गैस और ब्लोटिंग की समस्या हो जाती है।

खाने के साथ पानी पीना- अक्सर लोग खाना खाने के साथ-साथ पानी पीते रहते हैं। ये आदत भी गैस ज्यादा बनने और ब्लोटिंग की समस्या के लिए जिम्मेदार हो सकती है। इसलिए खाना खाते समय या इसके तुरन्त बाद पानी न पिएं। ध्यान रखें कि अगर आपको पानी पीना है तो खाने से 30-45 मिनट पहले या 30-45 मिनट बाद ही पिएं। इससे आपका आहार ठीक से पचेगा और गैसा या पेट में भारीपन की समस्या नहीं होगी।

रात का खाना देर से खाना- रात को देर से खाने से भी पेट में गैस और भारीपन की समस्या होती है। दरअसल जब भी आप रात में देर से खाना खाते हैं और उसके बाद सो जाते हैं तो वो खाना पचता नहीं है। ये बिना पचा हुआ खाना गैस, पेट दर्द और कब्ज का कारण बनता है। लम्बे समय तक ये आदत आपके लिवर और पाचनतंत्र को खराब कर सकती है। रात का खाना हमेशा सोने से 2-3 घंटे पहले जरूर खा लें।

आप प्रतिदिन कम से कम आठ-दस गिलास पानी जरूर पिएं। इससे पाचन तंत्र अच्छी तरह काम करता है और कब्ज की समस्या नहीं होती। पेट साफ होने पर हमारी आंतें अच्छी तरह काम करती हैं, जिससे गैस और एसिडिटी का सामना नहीं करना पड़ता।

-तली और मिर्च-मसाले वाली चीजें खाने से पेट में जलन होती है और गैस बनने लगती है। इसलिए, ऐसे खाद्य पदार्थों से दूरी बना कर रखें। साथ ही नोट करें कि कौन-सी चीज खाने से आपको पेट में जलन व गैस होती है। आप ऐसे खाद्य पदार्थों की लिस्ट बना सकते हैं और उन्हें खाने से परहेज करें।

-जंक फूड से दूरी बनाकर रखें।

-आप जो भी दवा का सेवन कर रहे हैं, उन पर भी नजर रखें। अगर उनमें से किसी दवा के सेवन से आपको पेट में जलन व गैस महसूस होती है तो इस बारे में डॉक्टर को बताएं। डॉक्टर उसकी जगह आपको अन्य दवा दे सकता है।

-शराब, धूम्रपान और तम्बाकू का सेवन बिल्कुल न करें। ये हमारे पाचन तंत्र को खराब करते हैं, जिससे गैस और एसिडिटी होती है। साथ ही इनके सेवन से किडनी व फेफड़ों पर भी असर पड़ता है।

-चाय-कॉफी का सेवन कम से कम करें। इनकी तासीर गर्म होती है, जिस कारण पेट में जलन होती है।

-प्रतिदिन कम से कम 20-25 मिनट योगासन जरूर करें। इससे पेट के अंदरूनी अंग सही प्रकार से काम करते हैं और हमारा शरीर प्राकृतिक रूप से डिटॉक्स होता है। आप किसी ट्रेनर की देख-रेख में पवनमुक्तासन, तितली आसन, पादहस्तान, नौकासन व सूर्य नमस्कार आदि कर सकते हैं। ये सभी न सिर्फ गैस की समस्या को दूर करते हैं, बल्कि वजन को संतुलित रखते हैं।

-साथ ही सुबह की सैर और रात को खाने के बाद कुछ देर टहलें जरूर। इससे पाचन तंत्र अच्छा रहता है और भोजन भी जल्दी हजम हो जाता है।

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