Friday, September 20, 2024
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मौसम विभाग ने जून के मौसम के बारे में क्या दी जानकारी?

मौसम विभाग ने जून के मौसम के बारे में एक अहम जानकारी दी है! भारतीय मौसम विभाग ने शुक्रवार को अनुमान जताया कि इस साल मॉनसून सामान्य रहेगा। जून से सितंबर तक के चार महीनों में इस बार 96% बारिश के आसार हैं। इस दौरान देश में 87 सेंटीमीटर बारिश होती है। देश में 96 से 104% बारिश को सामान्य माना जाता है। खास बात यह कि मौसमी घटना अल नीनो के आसार के बावजूद भारत में दक्षिण-पश्चिम मॉनसून सामान्य रहने की उम्मीद है, जो तीन साल बाद लौट रहा है। अल नीनो की घटना में भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर की सतह गर्म होती है और मॉनसून कमजोर पड़ता है। मौसम विभाग के मुताबिक, मॉनसून में अल नीनो की संभावना 90% से ज्यादा है। खेतीप्रधान ज्यादातर हिस्सों में मॉनसून सामान्य रहने के आसार हैं। मौसम विभाग ने जून में देश के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य से कम बारिश का अनुमान जताया है। बारिश की इस कमी से जून का महीना सामान्य से ज्यादा गर्म भी रहेगा। उत्तर-पश्चिमी भारत में मॉनसून के दौरान सामान्य से कम बारिश 92% की आशंका है। दक्षिणी प्रायद्वीपीय इलाकों, उत्तर भारत और पूर्वोत्तर के कुछ हिस्सों में सामान्य से ज्यादा बारिश की उम्मीद है। इस कारण से इन इलाकों में तापमान भी सामान्य से कम रह सकता है। केरल में मॉनसून के दस्तक देने की सामान्य तारीख 1 जून है, लेकिन मौसम विभाग ने बताया कि इस बार वहां मॉनसून 4 जून को दस्तक दे सकता है। पिछले साल केरल में यह 29 मई को पहुंचा था।

मौसम से जुड़े विभिन्न जानकारों के अनुसार, जून में कम बारिश का अनुमान है। ऐसे में मॉनसून को सामान्य कहना ठीक नहीं है। मौसम से जुड़ी प्राइवेट एजेंसी स्काईमेट के जतिन सिंह ने कहा कि मॉनसून 7 जून के आसपास दस्तक देगा। अल नीनो की घटना में भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर की सतह गर्म होती है और मॉनसून कमजोर पड़ता है। मौसम विभाग के मुताबिक, मॉनसून में अल नीनो की संभावना 90% से ज्यादा है। खेतीप्रधान ज्यादातर हिस्सों में मॉनसून सामान्य रहने के आसार हैं। मौसम विभाग ने जून में देश के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य से कम बारिश का अनुमान जताया है। बारिश की इस कमी से जून का महीना सामान्य से ज्यादा गर्म भी रहेगा। उत्तर-पश्चिमी भारत में मॉनसून के दौरान सामान्य से कम बारिश 92% की आशंका है। दक्षिणी प्रायद्वीपीय इलाकों, उत्तर भारत और पूर्वोत्तर के कुछ हिस्सों में सामान्य से ज्यादा बारिश की उम्मीद है। इस कारण से इन इलाकों में तापमान भी सामान्य से कम रह सकता है। केरल में मॉनसून के दस्तक देने की सामान्य तारीख 1 जून है, लेकिन मौसम विभाग ने बताया कि इस बार वहां मॉनसून 4 जून को दस्तक दे सकता है।इसके बाद वह धीमा हो जाएगा और 22 जून तक इसके आगे बढ़ने की रफ्तार काफी कम रहेगी। जून में बारिश की कमी भी होगी। इसी तरह के हालात 2014 और 2018 में भी रहे थे। इन दोनों वर्षों में मॉनसून से पहले अल नीनो बन गया था। नैशनल सेंटर फॉर एटमॉस्फेयरिक साइंस के रिसर्च साइंटिस्ट अक्षय देवरस ने बताया कि भारतीय मौसम विभाग समेत कई सेंटर इस तरह का पूर्वानुमान दिखा रहे हैं कि भारत में जून में सामान्य से कम बारिश होगी, तापमान भी ज्यादा रहेगा।

ऐसे में यह साफ कहा जा सकता है कि यह मॉनसून सामान्य तो नही है। आईआईटीएम के वैज्ञानिक रॉक्सी कोल के अनुसार,अल नीनो की घटना में भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर की सतह गर्म होती है और मॉनसून कमजोर पड़ता है। मौसम विभाग के मुताबिक, मॉनसून में अल नीनो की संभावना 90% से ज्यादा है। खेतीप्रधान ज्यादातर हिस्सों में मॉनसून सामान्य रहने के आसार हैं। मौसम विभाग ने जून में देश के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य से कम बारिश का अनुमान जताया है। बारिश की इस कमी से जून का महीना सामान्य से ज्यादा गर्म भी रहेगा। उत्तर-पश्चिमी भारत में मॉनसून के दौरान सामान्य से कम बारिश 92% की आशंका है। दक्षिणी प्रायद्वीपीय इलाकों, उत्तर भारत और पूर्वोत्तर के कुछ हिस्सों में सामान्य से ज्यादा बारिश की उम्मीद है। इस कारण से इन इलाकों में तापमान भी सामान्य से कम रह सकता है। केरल में मॉनसून के दस्तक देने की सामान्य तारीख 1 जून है, लेकिन मौसम विभाग ने बताया कि इस बार वहां मॉनसून 4 जून को दस्तक दे सकता है। सामान्य मॉनसून की परिभाषा को बदलने की जरूरत है। चार महीने के आधार पर मॉनसून को सामान्य कहना सही नहीं है। जब पहले ही महीने बारिश की कमी है, तो इसका सीधा अर्थ है कि अगले तीन महीने में सामान्य से अधिक बारिश होगी।

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