Sunday, December 22, 2024
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सर्वांगासन योग क्या है? जानिए इसके फायदे!

सभी अंगो का आसन सर्वांगासन कहलाता है! योग सिर्फ मानसिक ही नहीं, आपके संपूर्ण स्वास्थ्य को बेहतर बनाए रखने का सबसे कारगर उपाय माने जाते हैं। कई तरह की बीमारियों के जोखिम को कम करने के साथ शरीर की ऊर्जा में वृद्धि करने, मानसिक स्वास्थ्य में सुधार करने और बेहतर स्वास्थ्य सुनिश्चित करने में योग विशेष भूमिका निभाते हैं। कुछ योगासनों के अभ्यास को कई तरह से हमारी सेहत के लिए फायदेमंद माना जाता है। सर्वांगासन योग ऐसा ही अभ्यास है। संपूर्ण शरीर में सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ावा देने के साथ मानसिक स्वास्थ्य संबंधी लक्षणों में सुधार करने के लिए भी इस योग के अभ्यास को लाभदायक माना जाता है। सर्वांगासन योग  को विशेषज्ञ ‘सर्वोत्तम योगासन’ भी मानते हैं।

शोल्डर स्टैंड या सर्वांगासन, एक ऐसी योग मुद्रा है जिसमें पूरे शरीर को कंधों पर संतुलित किया जाता है। सर्वांगासन पूरे शरीर का व्यायाम है जो कई मांसपेशियों के समूह पर काम करता है और आपको बेहतर शारीरिक संतुलन, बेहतर मुद्रा और शांति प्राप्त करने में मदद करता है। नियमित रूप से इस आसन का अभ्यास करके आप सेहत को गजब का बूस्ट दे सकते हैं।

योग विशेषज्ञों के मुताबिक किसी भी आसन से सर्वोत्तम लाभ प्राप्त करने के लिए उसका सही तरीके से अभ्यास करना आवश्यक होता है। सर्वांगासन योग का अभ्यास अपेक्षाकृत थोड़ा कठिन हो सकता है, इसलिए किसी विशेषज्ञ से इसके सही तरीके के बारे में जानकारी अवश्यक प्राप्त कर लें।

इस योग के अभ्यास के लिए पीठ के बल लेट जाएं। अब पैरों 90 डिग्री तक ऊपर की ओर ले जाएं। पांवों को सिर की सीध में रखें। शरीर को इस तरह से सीधा रखें कि ठोड़ी छाती पर आकर लगे। इस अवस्था में कुछ समय रहने के बाद धीरे-धीरे मूल अवस्था में लौटें।

योग विशेषज्ञ बताते हैं कि यह अभ्यास शरीर की सभी बड़ी मांसपेशियों को सक्रियता देने के साथ रक्त के संचार के बढ़ाने में विशेष मददगार हो सकता है। इसका नियमित रूप से अभ्यास करना आपके लिए बहुत लाभप्रद माना जाता है।

थायरॉयड और पैराथायरायड ग्रंथियों को उत्तेजित करने के साथ उनके कार्यों को बेहतर बनाता है।

बाहों और कंधों को मजबूत करने के साथ रीढ़ को लचीला बनाता है।

मस्तिष्क को अधिक रक्त से पोषण देता है।

हृदय में रक्त के संचार को बढ़ाकर इसकी कार्यक्षमता में सुधार करता है। 

कब्ज, अपच जैसी पाचन की समस्याओं से राहत दिलाने वाला योगाभ्यास है।

नसों और शरीर को तंत्रिकाओं को आराम दिलाने में मदद करता है।

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