हाल ही के कुछ दिनों में बिहार में कई पुल गिरने की खबर सामने आई है! बिहार में भागलपुर के सुल्तानगंज में अगुवानी पुल एक बार फिर से धराशायी हो गया। पुल सिर्फ धराशायी नहीं हुआ बल्कि गंगा नदी में विलीन ही हो गया। इसके बाद रविवार की रात 9 बजे तेजस्वी यादव ने आनन-फानन में प्रेस कॉन्फ्रेंस बुलाई। इस प्रेस कॉन्फ्रेंस में उनके साथ पथ निर्माण विभाग के अपर मुख्य सचिव और बिहार सरकार के तेज तर्रार अधिकारी प्रत्यय अमृत भी मौजूद थे। दोनों ने पुल के गिरने का ठीकरा ठेकेदार पर फोड़ दिया। यहां तक कहा कि आईआईटी रुड़की की टीम ने भी पुल की जांच की थी। ये जांच तब कराई गई थी जब पिछले साल पुल का एक हिस्सा आंधी में तबाह हो गया था। यहां ये बताना जरूरी नहीं कि उप मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव पथ निर्माण विभाग के मंत्री भी हैं। तेजस्वी यादव ने पुल के गिरने को लेकर आईआईटी रुड़की की जांच का जिक्र किया। उन्होंने पिछले साल अगुवानी पुल का एक हिस्सा गिरने के बाद जांच के बारे में सिलसिलेवार बताया। इसके बाद पथ निर्माण विभाग के सचिव प्रत्यय अमृत ने प्रेस से बातचीत की। उन्होंने कहा कि ‘आईआईटी रुड़की की रिपोर्ट तीन से चार दिन में आ जाएगी और ठेकेदार के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई, ब्लैकलिस्टिंग तक की जाएगी।’ इसी बात को करीब-करीब तेजस्वी यादव ने भी दोहरा दिया। यानी सुल्तानगंज के अगुवानी पुल के गिरने की पूरी जिम्मेदारी ठेकेदार के मत्थे एडवांस में ही मढ़ दी गई। तेजस्वी यादव और विभाग के प्रधान सचिव ने खुद कहा कि रिपोर्ट तीन से चार दिन में आएगी। लेकिन उन्होंने पहले ही तय कर लिया था कि बलि का बकरा कौन बनेगा, यानि ठेकेदार।
2 जून की रात ओडिशा के बालासोर में हुई कोरोमंडल एक्सप्रेस हादसे की तस्वीरें अभी भी लोगों कंपा दे रही हैं। इसके बाद बिहार में सहयोगी और सत्ताधारी जेडीयू ने 1999 में गैसल रेल हादसे के बाद नीतीश के इस्तीफे के बयान का वीडियो ट्वीट किया। इसके बाद पथ निर्माण विभाग के सचिव प्रत्यय अमृत ने प्रेस से बातचीत की। उन्होंने कहा कि ‘आईआईटी रुड़की की रिपोर्ट तीन से चार दिन में आ जाएगी और ठेकेदार के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई, ब्लैकलिस्टिंग तक की जाएगी।’ इसी बात को करीब-करीब तेजस्वी यादव ने भी दोहरा दिया। यानी सुल्तानगंज के अगुवानी पुल के गिरने की पूरी जिम्मेदारी ठेकेदार के मत्थे एडवांस में ही मढ़ दी गई। तेजस्वी यादव और विभाग के प्रधान सचिव ने खुद कहा कि रिपोर्ट तीन से चार दिन में आएगी।इसी बीच बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया और कहा कि इस हादसे के लिए रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव को इस्तीफा देना चाहिए।2 जून की रात ओडिशा के बालासोर में हुई कोरोमंडल एक्सप्रेस हादसे की तस्वीरें अभी भी लोगों कंपा दे रही हैं। इसके बाद बिहार में सहयोगी और सत्ताधारी जेडीयू ने 1999 में गैसल रेल हादसे के बाद नीतीश के इस्तीफे के बयान का वीडियो ट्वीट किया। इसी बीच बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने केंद्र की मोदी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया और कहा कि इस हादसे के लिए रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव को इस्तीफा देना चाहिए। आरजेडी ने तो इसके लिए सीधे-सीधे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी जिम्मेदार ठहराया।आरजेडी ने तो इसके लिए सीधे-सीधे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को भी जिम्मेदार ठहराया।
भागलपुर के अगुवानी पुल के धराशायी होने के बाद केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने बिहार सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा कि ‘यह पुल भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया, इसकी जांच होनी चाहिए। बिहार सरकार धृतराष्ट्र की तरह आंख बंद न कर सभी पुल की सुरक्षा जांच कराएं।इसके बाद पथ निर्माण विभाग के सचिव प्रत्यय अमृत ने प्रेस से बातचीत की। उन्होंने कहा कि ‘आईआईटी रुड़की की रिपोर्ट तीन से चार दिन में आ जाएगी और ठेकेदार के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई, ब्लैकलिस्टिंग तक की जाएगी।’ इसी बात को करीब-करीब तेजस्वी यादव ने भी दोहरा दिया। यानी सुल्तानगंज के अगुवानी पुल के गिरने की पूरी जिम्मेदारी ठेकेदार के मत्थे एडवांस में ही मढ़ दी गई। तेजस्वी यादव और विभाग के प्रधान सचिव ने खुद कहा कि रिपोर्ट तीन से चार दिन में आएगी। ये तय मान लीजिए कि अब बीजेपी बिहार में महागठबंधन सरकार को पुर गिरने पर बख्शने वाली नहीं है। लेकिन अहम सवाल ये भी है कि क्या कोरोमंडल रेल हादसे पर रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव का इस्तीफा मांग रहे तेजस्वी यादव भागलपुर में अगुवानी पुल गिरने के बाद खुद रिजाइन करेंगे? क्योंकि नैतिकता तो हर जगह है… चाहे वो रेल हादसा हो या पुल हादसा। शायद इसीलिए कहा गया है कि जिनके घर शीशे के होते हैं वो दूसरों के घरों पर पत्थर नहीं मारा करते।