उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने शु्क्रवार सुबह बिना नाम लिए समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव पर निशाना साधा है. उन्होंने एक ट्वीट कर कहा वे ‘जिन्ना के उपासक है, हम ‘सरदार पटेल’ के पुजारी हैं. उनको पाकिस्तान प्यारा है, हम मां भारती पर जान न्योछावर करते हैं. बता दें कि एक चुनाव प्रचार के दौरान सपा अध्यक्ष ने जिन्ना को लेकर बयान दिया था. इसके बाद से विधानसभा चुनावों में जिन्ना की एंट्री हुई थी. वहीं चीन और पाकिस्तान को लेकर भी अखिलेश यादव बयान दे चुके हैं. अब इसे सीएम योगी के अखिलेश यादव पर हमले के तौर पर देखा जा रहा है योगी ने कहा कि मेरठ, अपने खेल उत्पादों के लिए प्रसिद्ध था। किंतु सपा, बसपा व कांग्रेस की विकासद्रोही सरकारों ने इस विशिष्टता को जनपद की पहचान नहीं बनने दिया। लआज यहां मेजर ध्यानचंद खेल विश्वविद्यालय स्थापित हो रहा है। यहां के खेल उत्पाद वैश्विक पहचान पा रहे हैं। फर्क साफ है…। इससे पहले योदी ने गुरुवार को ट्वीट में कहा था कि जनता-जनार्दन साक्षी है…वे ‘तुष्टीकरण’ करते हैं, हम ‘अंत्योदय’ कर रहे हैं। वे ‘परिवारवाद’ करते हैं, हम ‘राष्ट्रवाद’ की अलख जगा रहे हैं। वे रामभक्तों पर गोली चलवाते हैं, हम प्रभु श्री राम का भव्य मंदिर बनवा रहे हैं
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक बार फिर विपक्षी दलों पर करारा हमला बोला है यूपी के चुनावी मैदान में जिन्ना विवाद पहले ही आ चुका है। चुनावी अभियान की शुरुआती दिनों में अखिलेश यादव ने महात्मा गांधी, पंडित नेहरू और सरदार पटेल के समकक्ष भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन में मोहम्मद अली जिन्ना की भूमिका को करार दिया था। इसको भाजपा के तमाम नेताओं ने लपका और अखिलेश यादव पर तुष्टिकरण की राजनीति का आरोप लगा दिया। एक वर्ग को खुश करने के लिए अखिलेश पर इस प्रकार का बयान देने का आरोप लगा। हालांकि, बाद में लगातार यात्राओं के जरिए अखिलेश ने इस मुद्दे को कम करने की कोशिश की। अपनी सरकार के कामकाज को बताते हुए योगी आदित्यनाथ ने सपा और बसपा पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि भाजपा की डबल इंजन की सरकार ने एक्सप्रेस-वे बनाकर दिल्ली से मेरठ की यात्रा अवधि को 4 घंटे से कम करके 40 मिनट कर दिया है। सपा और बसपा बताएं कि उनके समय में यह क्यों नहीं हुआ? दंगों को लेकर भी अखिलेश यादव पर योगी ने सवाल उठाए हैं। योगी ने कहा कि मेरठ, जो 5 वर्ष पूर्व मजहबी दंगों की आग में झुलसता था। कर्फ्यू के कारण लोग घरों में कैद रहने को विवश थे। आज यहां समृद्धि के नए मानक स्थापित हो रहे हैं। बेटियां सुरक्षित हैं और मातृशक्ति का सम्मान है। रंगदारी मांगने वाले अब जान की भीख मांग रहे हैं